पीएम मोदी का देशवासियों से अगले 25 वर्षों के लिए पांच संकल्प अपनाने का आह्वान

देशवासियों को बधाई देते हुए प्रधानमंत्री ने कहा, आज ऐतिहासिक दिन है। यह एक पुण्य पड़ाव, एक नई राह, एक नए संकल्प और नई ताकत के साथ कदम उठाने का अवसर है। आजादी के इतने दशकों के बाद भारत के प्रति पूरी दुनिया का नजरिया बदल गया है। दुनिया उम्मीद से भारत की ओर देख रही है। दुनिया की सोच में यह बदलाव हमारे 75 साल के अनुभव के सफर का नतीजा है

आजादी के 75 साल पूरे होने पर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने लाल किले पर तिरंगा फहराते हुए कहा कि आज जब हम स्वर्ण युग में प्रवेश कर रहे हैं, तो हमारे देश के लिए अगले 25 वर्ष बहुत महत्वपूर्ण हैं। अगले 25 सालों के लिए देश को पांच संकल्पों पर केंद्रित करना होगा। पहला, देश  के लिए बड़े संकल्प लेकर चलना होगा। दूसरा, सैकड़ों साल की गुलामी के बंधन से मुक्त होना होगा। तीसरा, हमें अपनी उस विरासत पर गर्व होना चाहिए जिसने कभी भारत को स्वर्ण युग दिया था। चौथा, अनेकता में एकता समस्त 130 करोड़ देशवासियों के बीच हो। पांचवां, पीएम हो या सीएम हर नागरिक को अपने कर्तव्य का निर्वहन करना होगा।

देशवासियों को बधाई देते हुए प्रधानमंत्री ने कहा, आज ऐतिहासिक दिन है। यह एक पुण्य पड़ाव, एक नई राह, एक नए संकल्प और नई ताकत के साथ कदम उठाने का अवसर है। आजादी के इतने दशकों के बाद भारत के प्रति पूरी दुनिया का नजरिया बदल गया है। दुनिया उम्मीद से भारत की ओर देख रही है। दुनिया की सोच में यह बदलाव हमारे 75 साल के अनुभव के सफर का नतीजा है। जिस तरह से हम अपने संकल्प के साथ जा रहे हैं, दुनिया देख रही है।

आत्मनिर्भरता पर उन्होंने कहा कि आजादी के 75 साल बाद लाल किले से तिरंगे को सलामी देने का काम मेड इन इंडिया तोप ने किया है। उन्होंने कहा कि दुनिया के लोग भारत में अपनी किस्मत आजमाने आ रहे हैं। भारत मैन्युफैक्चरिंग हब बनता जा रहा है। आज देश बहुत तेजी से आगे बढ़ रहा है। जब हमारे ब्रह्मोस दुनिया में जाते हैं, तो ऐसा भारतीय कौन है जिसका मन आकाश को नहीं छूता है? हमें आत्मनिर्भर बनना है। हमें ऊर्जा क्षेत्र को आत्मनिर्भर बनाना है। हमें केमिकल फर्टिलाइजर  औऱ केमिकल खेती से मुक्ति  के लिए लिए प्राकृतिक खेती की तरफ मुड़ना चाहिए। सिचाई के लिए पर ड्राप मोर क्राप  पर काम करना चाहिए । इसके साथ ही  सौर, पवन ऊर्जा क्षेत्र, मिशन हाइड्रोजन, जैव ईंधन, इलेक्ट्रिक वाहन  की तरफ बढ़ना चाहिए, जिससे देश आत्मनिर्भर हो सके।

उन्होंने कहा क कोराना काल में जब दुनिया दुविधा में थी तो देश ने 200 करोड़ का वैक्सीनेशन सीमा पार कर ली। ईंधन में इथनॉल ब्लेंडिंग करके हमने कच्चे तेल के आयात पर निर्भरता क की है। ढाई करोड़ लोगों को इतने कम समय में बिजली कनेक्शन देना छोटा काम नहीं था। लाखों लोगों के घर में नल से जल पहुंचाने का काम आज देश तेज गति से कर रहा है। खुले में शौच से मुक्ति आज भारत में संभव हो पाया है। उनने कहा  एक बार अगर हम सब संकल्प लेकर चल पड़े तो हम उसे हासिल कर सकते हैं।

पीएम मोदी ने कहा कि हमें किसी भी हालत में दूसरों की तरह दिखने की कोशिश नहीं करनी चाहिए। हमें गुलामी से आजादी चाहिए। मुझे आशा दिखाई देती है। नई राष्ट्रीय शिक्षा नीति लाखों लोगों के विचारों को संकलित करके बनाई गई है। भारत की भूमि से जुड़ी शिक्षाओं से बनी है। यह एक ऐसी शक्ति है जो हमें गुलामी से मुक्त करने की ताकत देगी। हमने देखा है कि कभी-कभी हमारी प्रतिभा भाषा से बंधी होती है। यह गुलामी की मानसिकता का असर है। हमें अपनी भाषा पर गर्व होना चाहिए। पीएम मोदी ने कहा कि जब तक समाज गंदगी से नफरत नहीं करता, तब तक समाज का विकास नहीं हो सकता। उन्होंने भ्रष्टाचार और भाई-भतीजावाद पर प्रहार करते हुए कहा कि इनके खिलाफ हमें एकजुट होना पड़ेगा।