किसानों का रेल रोको धरना स्थगित, अब करेंगे भाजपा नेताओं का घेराव

पंजाब-हरियाणा बॉर्डर पर रेल रोको धरना दे रहे किसानों ने ट्रैक खाली करने का निर्णय लिया है। हालांकि, शंभू बॉर्डर हाईवे पर किसान आंदोलन जारी रहेगा। अब किसान संगठन पंजाब-हरियाणा में भाजपा नेताओं के दफ्तरों का घेराव करेंगे

किसानों का रेल रोको धरना स्थगित, अब करेंगे भाजपा नेताओं का घेराव

पंजाब-हरियाणा बॉर्डर पर रेल रोको धरना दे रहे किसानों ने ट्रैक खाली करने का निर्णय लिया है। हालांकि, शंभू बॉर्डर हाईवे पर किसानों का आंदोलन जारी रहेगा। अब किसान संगठनों ने पंजाब-हरियाणा में भाजपा नेताओं के दफ्तरों का घेराव करेंगे।

संयुक्त किसान मोर्चा (गैर-राजनीतिक) व किसान मजदूर मोर्चा ने आज चंडीगढ़ के किसान भवन में प्रेस कॉन्फ्रेंस कर शंभू रेलवे स्टेशन पर 17 अप्रैल से चल रहे धरने को स्थगित करने का ऐलान किया। किसानों के इस विरोध-प्रदर्शन के कारण बड़ी तादाद में ट्रेनों को रद्द करना पड़ रहा था। इससे यात्रियों और व्यापारियों को काफी परेशानियों का सामना करना पड़ रहा था। 

किसान नेता जगजीत सिंह डल्लेवाल ने कहा कि भाजपा नेता किसानों को बदनाम करने की कोशिश कर रहे हैं, इसलिए हमने अपना विरोध शंभू व खनौरी बॉर्डर के साथ-साथ उन स्थानों पर केंद्रित करने का फैसला किया है जहां-जहां भाजपा के स्टार प्रचारक दौरा कर रहे हैं। गौरतलब है कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी 23 मई को पटियाला में चुनावी सभा करेंगे।

युवा किसान नेता नवदीप सिंह जलबेड़ा, अनीश खटकड़ और गुरकीरत सिंह की रिहाई की मांग को लेकर 17 अप्रैल से शंभू रेलवे स्टेशन पर किसानों का विरोध-प्रदर्शन शुरू हुआ था। एमएसपी की कानूनी गारंटी सहित कई मांगों को लेकर किसान 13 फरवरी से हरियाणा-पंजाब के शंभू बॉर्डर पर आंदोलन कर रहे हैं जिन्हें हरियाणा पुलिस ने आगे नहीं बढ़ने दिया। तब से आंदोलनकारी किसान वहीं मोर्चा जमाए हुए हैं।  

किसान नेता सुरजीत सिंह फूल का कहना है कि अब पंजाब-हरियाणा में भाजपा नेताओं का घेराव किया जाएगा और उन पर सवाल उठाए जाएंगे। दोनों राज्यों में भाजपा नेताओं को किसानों के तीखे विरोध और सवालों का सामना करना पड़ रहा है। किसान नेताओं का कहना है कि वे लोकतांत्रिक तरीके से भाजपा नेताओं पर सवाल उठाएंगे और उनके साथ हुई वादाखिलाफी का विरोध करेंगे।   

22 मई को किसान आंदोलन के 100 दिन पूरे होने पर शंभू, दातेसिंहवाला-खनौरी, डबवाली व रतनपुरा बोर्डरों पर किसान इकट्ठे होंगे और आंदोलन को मजबूत करने के लिए आगामी बड़े ऐलान किए जाएंगे। रविवार को कैथल के पाई गांव में "किसान इंसाफ यात्रा" के समापन के अवसर पर किसान महापंचायत का आयोजन किया था जिसे रोकने के लिए हरियाणा पुलिस ने कई किसानों को डिटेन किया। इसके बावजूद वहां हजारों की संख्या में किसान पहुंचे। 

चंडीगढ़ में हुई प्रेस कांफ्रेंस में किसान नेता काका सिंह कोटड़ा, सरवन सिंह पंधेर, बलदेव सिंह सिरसा, सुखजीत सिंह, दिलबाग सिंह, लखविंदर सिंह औलख, गुरिंदर भंगू, अभिमन्यु कोहाड़, मलकीत सिंह आदि मौजूद रहे।

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