हरियाणा के किसानों को खराब गेहूं के भी मिलेंगे पूरे दाम, 14 लाख टन गेहूं की हो चुकी है खरीद

6 फीसदी से ज्यादा और 8 फीसदी तक के खराब गेहूं में 5.31 रुपये प्रति क्विंटल की कटौती होगी। इसी तरह 8-10 फीसदी तक 10.62 रुपये प्रति क्विंटल, 10-12 फीसदी तक 15.93 रुपये और 12-14 फीसदी तक 21.24 रुपये प्रति क्विंटल की कटौती की जाएगी। वहीं 14-16 फीसदी तक में 26.5 रुपये और 16-18 फीसदी तक सिकुड़े एवं टूटे गेहूं की कीमतों में 31.86 रुपये प्रति क्विंटल की कटौती करने का निर्देश केंद्र की ओर से दिया गया है। गेहूं की फसल को हुए नुकसान से किसान पहले से हलकान हैं। ऊपर से यह कटौती उनके लिए नई मुसीबत थी जिसे दूर करते हुए हरियाणा सरकार ने अपनी ओर से इसकी भरपाई करने का आदेश दिया है।

हरियाणा के किसानों को खराब गेहूं के भी मिलेंगे पूरे दाम, 14 लाख टन गेहूं की हो चुकी है खरीद
हरियाणा में 14 लाख टन गेहं की हो चुकी है सरकारी खरीद।

हरियाणा सरकार ने नुकसान से प्रभावित गेंहू की पूरी कीमत देने का फैसला किया है। मनोहर लाल खट्टर सरकार ने यह घोषणा करते हुए कहा है कि किसानों को न्यूनतम समर्थन मूल्य (एमएसपी) पर गेहूं की पूरी कीमत दी जाएगी। चालू रबी मार्केटिंग सीजन के लिए गेहूं का एमएसपी 2,125 रुपये प्रति क्विंटल तय किया गया है। हरियाणा के कृषि मंत्री जेपी दलाल ने बताया है कि राज्य में अब तक 14 लाख टन गेहूं की सरकारी खरीद हो चुकी है, जबकि कुल पैदावार 90 लाख टन होने का अनुमान है।

दरअसल, मार्च के दूसरे पखवाड़े में गेहूं उत्पादक कई राज्यों में बेमौसम बारिश और ओलावृष्टि से फसल को काफी नुकसान पहुंचा है। इसे देखते हुए राज्यों ने केंद्र सरकार से गेहूं की सरकारी खरीद मानकों में छूट देने की मांग की थी। केंद्र सरकार ने मध्य प्रदेश सहित हरियाणा, पंजाब, राजस्थान और केंद्र शासित प्रदेश चंडीगढ़ को खरीद मानकों में छूट दे दी है, जबकि उत्तर प्रदेश की मांग पर अभी फैसला नहीं हुआ है।

राज्य सरकार करेगी कटौती की भरपाई

खरीद मानकों में दी गई छूट के मुताबिक, गेहूं की चमक 10 फीसदी से कम रहने पर कीमत में कोई कटौती नहीं की जाएगी। जबकि 18 फीसदी तक सिकड़े-टूटे गेहूं की भी सरकारी खरीद की जाएगी। मगर इसमें शर्त यह लगा दी गई है कि 6 फीसदी तक सिकुड़े-टूटे गेहूं की कीमत में कटौती नहीं होगी और उससे ऊपर में कटौती होगी। वहीं 10 फीसदी से 80 फीसदी तक चमकविहीन गेहूं की कीमतों में भी कटौती करने का निर्देश केंद्र ने दिया है। ऐसे गेहूं की कीमतों में कटौती 32 रुपये प्रति क्विंटल तक होगी। केंद्र के इस फैसले से किसानों में नाराजगी बढ़ रही थी। इसे देखते हुए हरियाणा सरकार ने केंद्र से इस पर दोबारा फैसला करने का अनुरोध किया है। साथ ही किसानों को राहत देते हुए कहा है कि चमकविहीन और सिकुड़े-टूटे गेहूं में जो कटौती की जाएगी उसकी भरपाई हरियाणा सरकार द्वारा की जाएगी।

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इतनी होगी कटौती

6 फीसदी से ज्यादा और 8 फीसदी तक के खराब गेहूं में 5.31 रुपये प्रति क्विंटल की कटौती होगी। इसी तरह 8-10 फीसदी तक 10.62 रुपये प्रति क्विंटल, 10-12 फीसदी तक 15.93 रुपये और 12-14 फीसदी तक 21.24 रुपये प्रति क्विंटल की कटौती की जाएगी। वहीं 14-16 फीसदी तक में 26.5 रुपये और 16-18 फीसदी तक सिकुड़े एवं टूटे गेहूं की कीमतों में 31.86 रुपये प्रति क्विंटल की कटौती करने का निर्देश केंद्र की ओर से दिया गया है। गेहूं की फसल को हुए नुकसान से किसान पहले से हलकान हैं। ऊपर से यह कटौती उनके लिए नई मुसीबत थी जिसे दूर करते हुए हरियाणा सरकार ने अपनी ओर से इसकी भरपाई करने का आदेश दिया है।

14 लाख टन गेहूं की हुई खरीद

हरियाणा के कृषि मंत्री जेपी दलाल ने गुरुवार को एक प्रेस कॉन्फ्रेंस में बताया कि मंडियों में गेहूं की आवक तेज हो गई है। अब तक 17.85 लाख टन गेहूं मंडियों में आ चुकी है जिसमें से 13.97 टन की सरकारी खरीद हो चुकी है। हालांकि, यह मात्रा पिछले साल के मुकाबले कम है। 2022 में खरीद शुरू होने के 12 दिन के भीतर ही 20.16 लाख टन गेहूं की सरकारी खरीद हो चुकी थी। बेमौसम बारिश की वजह से राज्य में फसलों की कटाई देर से शुरू हुई इसलिए गेहूं की मंडियों में आवक में देरी हुई। मगर अब मंडियों में आवक तेज हो गई है और फसलों की कटाई में भी तेजी आ चुकी है।

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इतना मिलेगा मुआवजा

बारिश और ओलावृष्टि से प्रभावित किसानों को हरियाणा सरकार ने राहत देने का भी ऐलान किया है। अभी फसलों के नुकसान के सर्वे का काम चल रहा है। जेपी दलाल ने बताया कि सर्वे पूरा होने के बाद किसानों को मई में मुआवजा दे दिया जाएगा। राज्य सरकार ने 25-50 फीसदी फसल खराब होने पर 9,000 रुपये प्रति एकड़, 51-75 फीसदी तक 12,000 रुपये प्रति एकड़, 75 फीसदी से लेकर पूरी फसल खराब होने पर 15,000 रुपये प्रति एकड़ मुआवजा देने का ऐलान किया है।

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