भारत के दूध, मांस और अंडा उत्पादन में निरंतर वृद्धि, अर्थव्यवस्था को मजबूती दे रहा पशुधन क्षेत्र

बेसिक एनिमल हसबैंड्री स्टैटिस्टिक्स (BAHS) 2025 के अनुसार, भारत विश्व का सबसे बड़ा दुग्ध उत्पादक देश बना हुआ है जबकि अंडा उत्पादन में दूसरा और मांस उत्पादन में चौथे स्थान पर है।

भारत के दूध, मांस और अंडा उत्पादन में निरंतर वृद्धि, अर्थव्यवस्था को मजबूती दे रहा पशुधन क्षेत्र

केंद्रीय पशुपालन और डेयरी विभाग द्वारा जारी बेसिक एनिमल हसबैंड्री स्टैटिस्टिक्स (BAHS) 2025 के अनुसार, भारत के पशुधन उत्पादन में मजबूत वृद्धि दर्ज की गई है, जो ग्रामीण अर्थव्यवस्था में इस क्षेत्र की बढ़ती भूमिका को दर्शाती है। ये आंकड़े मार्च 2024 से फरवरी 2025 के बीच कराए गये इंटीग्रेटेड सैंपल सर्वे के परिणामों पर आधारित हैं। 

भारत वैश्विक स्तर पर दूध उत्पादन में पहला स्थान बनाए हुए है, जबकि अंडा उत्पादन में दूसरा और मांस उत्पादन में चौथे स्थान पर है। यह वृद्धि पशुधन क्षेत्र को कृषि आय का एक प्रमुख स्तंभ बना रही है, जिसने 2023-24 में कुल कृषि  GVA में 31 फीसदी का योगदान दिया।

राष्ट्रीय दुग्ध दिवस के अवसर पर केंद्रीय मत्स्य, पशुपालन और डेयरी राज्य मंत्री प्रो. एस. पी. सिंह बघेल द्वारा बेसिक एनिमल हसबैंड्री स्टैटिस्टिक्स (BAHS) 2025 को जारी किया गया। इस अवसर पर राज्य मंत्री जॉर्ज कुरियन और विभाग के सचिव नरेश पाल गंगवार भी उपस्थित थे।

प्रमुख पशुधन उत्पाद

वस्तु
2023-24
2024-25
वृद्धि (%)
दूध उत्पादन (करोड़ टन)
23.93
24.79
3.58
प्रति व्यक्ति दूध (ग्राम/दिन)
471
485
2.97
अंडा उत्पादन (अरब संख्या में)
142.77
149.11
4.44
प्रति व्यक्ति अंडा (प्रतिवर्ष संख्या)
103
106
2.91
मांस उत्पादन (करोड़ टन)
1.02
1.05
2.46
प्रति व्यक्ति मांस (किलो/वर्ष)
7.39
7.51
1.62
ऊन उत्पादन (करोड़ किलोग्राम)
3.36
3.45
2.63

दूध उत्पादन

वर्ष 2024-25 में देश में दूध उत्पादन बढ़कर 24.78 करोड़ टन हो गया, जो 2023-24 के 23.93 करोड़ टन की तुलना में 3.58% की वृद्धि है।
प्रति व्यक्ति दूध उपलब्धता बढ़कर 485 ग्राम/दिन हो गई है, जो 2014-15 के 319 ग्राम/दिन से निरंतर सुधार दर्शाती है।

शीर्ष पाँच दूध उत्पादक राज्यों का योगदान इस प्रकार है:

  • उत्तर प्रदेश – 15.66%
  • राजस्थान – 14.82%
  • मध्य प्रदेश – 9.12%
  • गुजरात – 7.78%
  • महाराष्ट्र – 6.71%

विदेशी/क्रॉसब्रेड पशुओं से दूध उत्पादन में 4.97%, देशी नस्ल की गायों में 3.51% और भैंसों में 2.45% की वार्षिक वृद्धि दर्ज हुई।

अंडा उत्पादन

वर्ष 2024-25 के दौरान देश में कुल अंडा उत्पादन 14.91 करोड़ रहने का अनुमान है, जो 2023-24 की तुलना में 4.44 फीसदी अधिक है। प्रति व्यक्ति अंडा उपलब्धता 2014-15 के 62 अंडे प्रति वर्ष से बढ़कर 2024-25 में 106 अंडे प्रति वर्ष हो गई है।

मुख्य अंडा उत्पादक राज्य:

  • आंध्र प्रदेश – 18.37%
  • तमिलनाडु – 15.63%
  • तेलंगाना – 12.98%
  • पश्चिम बंगाल – 10.72%
  • कर्नाटक – 6.67%

कुल उत्पादन में कमर्शियल पोल्ट्री का योगदान 12.59 करोड (84.49%) रहा, जबकि बैकयार्ड पोल्ट्री का योगदान 2.31 करोड़ (15.51%) रहा।

मांस उत्पादन

देश में कुल मांस उत्पादन वर्ष 2024-25 के दौरान 105 लाख टन रहा, जो पिछले वर्ष की तुलना में 2.46% वृद्धि है। पोल्ट्री से 51.8 लाख टन मांस उत्पादन हुआ, जो कुल उत्पादन का लगभग आधा है।

शीर्ष मांस उत्पादक राज्य:

  • पश्चिम बंगाल – 12.46%
  • उत्तर प्रदेश – 12.20%
  • महाराष्ट्र – 11.57%
  • आंध्र प्रदेश – 10.84%
  • तेलंगाना – 10.49%

ये पांच राज्य मिलकर देश के कुल मांस उत्पादन का 57.55% योगदान देते हैं।

ऊन उत्पादन

2024-25 में देश का ऊन उत्पादन 3.45 करोड़ किलोग्राम रहा, जिसमें 2.63% की वृद्धि दर्ज की गई। इसमें राजस्थान 47.85% हिस्सेदारी के साथ सबसे बड़ा उत्पादक बना हुआ है। अन्य प्रमुख राज्य:

  • जम्मू-कश्मीर – 22.88%
  • गुजरात – 6.22%
  • महाराष्ट्र – 4.75%
  • हिमाचल प्रदेश – 4.30%

ये पांच राज्य मिलकर ऊन उत्पादन का 85.98% योगदान करते हैं।

अर्थव्यवस्था में पशुधन क्षेत्र का योगदान

पशुधन क्षेत्र देश के सकल मूल्यवर्धन (GVA) में 5.5% योगदान देकर अर्थव्यवस्था में अहम भूमिका निभा रहा है। 2024-25 में पशुधन उत्पादों का कुल निर्यात बढ़कर 66,249 करोड़ रुपये तक पहुंच गया, जिसमें मुख्य भूमिका मांस उद्योग विशेषकर बॉवाइन मीट की रही।

कृषि, वानिकी और मत्स्य क्षेत्र ने 2023-24 में राष्ट्रीय GVA में 17.8% योगदान दिया, जिसमें पशुधन क्षेत्र लगभग एक-तिहाई का योगदान करता है।
2014-15 से 2023-24 के बीच पशुधन क्षेत्र का GVA लगभग 195% तक बढ़ा है जो फसल उत्पादन की तुलना में कहीं अधिक तेज वृद्धि है।

महत्वपूर्ण दस्तावेज 

बेसिक एनिमल हसबैंड्री स्टैटिस्टिक्स (BAHS) जारी करते हुए केंद्रीय मंत्री प्रो. एस. पी. सिंह बघेल ने कहा कि विश्वसनीय डेटा एक महत्वपूर्ण दस्तावेज है जो पशुधन और डेयरी क्षेत्र की प्रवृत्तियों पर व्यापक आंकड़े प्रस्तुत करता है। प्रो. बघेल ने कहा कि भारतीय अर्थव्यवस्था में इस क्षेत्र की महत्वपूर्ण भूमिका है। देश में प्रति व्यक्ति दूध की उपलब्धता में उल्लेखनीय वृद्धि हुई है और यह 485 ग्राम प्रतिदिन तक पहुंच गई है, जो वैश्विक औसत 329 ग्राम प्रतिदिन से कहीं अधिक है।

 

Subscribe here to get interesting stuff and updates!