यूपी बजट में ग्रामीण अर्थव्यवस्था और किसानों पर फोकस, इनके लिए 30,000 करोड़ रुपये का प्रावधान

इस साल मार्च में दोबारा सत्ता में आई योगी सरकार ने गुरुवार को पेश बजट में कृषि, संबद्ध गतिविधियों, ग्रामीण अर्थव्यवस्था और कृषि बुनियादी ढांचे तथा वैल्यू चेन को मजबूत बनाने के लिए 30,000 करोड़ रुपये से अधिक आवंटित किए हैं

यूपी बजट में ग्रामीण अर्थव्यवस्था और किसानों पर फोकस, इनके लिए 30,000 करोड़ रुपये का प्रावधान
उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ और वित्त मंत्री सुरेश खन्ना

बजट में ग्रामीण अर्थव्यवस्था के लिए खास

-पीएम आवास योजना (ग्रामीण) के लिए 7,000 करोड़, मुख्यमंत्री आवास योजना (ग्रामीण) के लिए 508 करोड़ का प्रावधान

-पीएम ग्राम सड़क योजना के लिए 7,374 करोड़, राष्ट्रीय ग्रामीण आजीविका मिशन के लिए 3,155 करोड़ रुपये आवंटित

-पंचायतों की आर्थिक स्थिति मजबूत करने के मकसद से पंचायती राज संस्थाओं के लिए 7,466 करोड़ रुपये का प्रावधान

-गन्ना किसानों के बकाया भुगतान के लिए 1,000 करोड़, चीनी मिलों की मदद के लिए 380 करोड़ रुपये का प्रावधान

-दुग्ध संघों को मजबूत करने के लिए 60 करोड़ रुपये प्रस्तावित, वाराणसी और मेरठ जिलों में ग्रीनफील्ड डेयरी प्लांट पर 80 करोड़ खर्च होंगे

-सिंचाई के लिए 1,000 करोड़ रुपये का प्रावधान, मुख्यमंत्री कृषक दुर्घटना कल्याण योजना के तहत दुर्घटना बीमा के लिए 650 करोड़ प्रस्तावित

उत्तर प्रदेश की योगी आदित्यनाथ सरकार ने वित्त वर्ष 2022-23 के बजट में ग्रामीण अर्थव्यवस्था और किसानों के मुद्दों पर फोकस किया है। इस साल मार्च में दोबारा सत्ता में आई योगी सरकार ने गुरुवार को पेश बजट में कृषि, संबद्ध गतिविधियों, ग्रामीण अर्थव्यवस्था और कृषि बुनियादी ढांचे तथा वैल्यू चेन को मजबूत बनाने के लिए 30,000 करोड़ रुपये से अधिक आवंटित किए हैं। 

यूपी के वित्त मंत्री सुरेश खन्ना ने राज्य विधानसभा में 6,15,000 करोड़ रुपये का बजट पेश किया जो 2021-22 के बजट की तुलना में 10 प्रतिशत अधिक है। बजट दस्तावेजों के अनुसार, प्रधानमंत्री आवास योजना (ग्रामीण) के लिए 7,000 करोड़ रुपये का प्रावधान किया गया है, जबकि मुख्यमंत्री आवास योजना (ग्रामीण) के लिए 508 करोड़ रुपये आवंटित किए गए हैं।

श्यामा प्रसाद मुखर्जी रूर्बन मिशन के तहत चालू वित्त वर्ष के लिए 156 करोड़ रुपये का प्रावधान किया गया है। प्रधानमंत्री ग्राम सड़क योजना के लिए 7,374 करोड़ रुपये का आवंटन है। राष्ट्रीय ग्रामीण आजीविका मिशन के लिए 3,155 करोड़ रुपये आवंटित किए गए हैं।

15वें केंद्रीय वित्त आयोग की सिफारिशों के आधार पर राज्य पंचायतों की आर्थिक स्थिति को मजबूत करने के मकसद से पंचायती राज संस्थाओं के लिए 7,466 करोड़ रुपये का प्रावधान है। स्वच्छ भारत मिशन (ग्रामीण) योजना के तहत 1,788 करोड़ रुपये का प्रावधान किया गया है, जबकि राष्ट्रीय ग्राम स्वराज अभियान योजना के तहत पंचायतों की क्षमता वृद्धि, प्रशिक्षण और बुनियादी ढांचे के विकास के लिए 540 करोड़ रुपये खर्च किए जाएंगे।

संपूर्ण परिवार सर्वेक्षण उत्तर प्रदेश योजना के लिए 10 करोड़ रुपये रखे गए हैं। नमामि गंगे स्वच्छता अभियान के निर्मल गंगा कार्यक्रम के तहत तटीय क्षेत्र में भूमि एवं जल प्रबंधन योजना के लिए 97 करोड़ रुपये का प्रावधान किया गया है। उत्तर प्रदेश के गन्ना किसानों का बकाया भुगतान करने के लिए 1,000 करोड़ रुपये दिए गए हैं। साथ ही चीनी मिलों के जीर्णोद्धार एवं आधुनिकीकरण तथा नये संयंत्रों की स्थापना पर 380 करोड़ रुपये व्यय करने का प्रस्ताव है।

राज्य में दुग्ध संघों को मजबूत और पुनर्जीवित करने के लिए 60 करोड़ रुपये प्रस्तावित हैं। मथुरा में 3,000 लीटर प्रतिदिन की क्षमता के नए डेयरी प्लांट के निर्माण के लिए 8 करोड़ रुपये खर्च किए जाएंगे। वाराणसी और मेरठ जिलों में निर्माणाधीन ग्रीनफील्ड डेयरी प्लांट पर लगभग 80 करोड़ रुपये खर्च किए जाएंगे।

मत्स्यपालन को बढ़ावा देने के लिए दो करोड़ रुपये की लागत से मत्स्य किसानों को आर्थिक रूप से आत्मनिर्भर बनाने के लिए मुख्यमंत्री मत्स्य संपदा योजना शुरू की जाएगी। ग्राम सभा तालाबों के मत्स्य पट्टाधारकों एवं मछुआरों को नाव खरीदने में सहायता करने के लिए निषादराज नौका अनुदान योजना का प्रस्ताव किया गया है, जिसके लिए दो करोड़ रुपये प्रस्तावित हैं। असंगठित क्षेत्रों की खाद्य प्रसंस्करण इकाइयों को प्रशिक्षण, नई तकनीक, विपणन और ऋण सुविधाएं प्रदान करने के मकसद से प्रधानमंत्री खाद उद्योग उन्नयन योजना के तहत बागवानी और खाद्य प्रसंस्करण को बढ़ावा देने के लिए 121 करोड़ रुपये का प्रावधान किया गया है।

सहकारी संस्थाओं को सुदृढ़ करने के लिए इन संस्थाओं के माध्यम से किसानों को रियायती दरों पर ऋण उपलब्ध कराया जाएगा। इस मकसद से 'ब्याज अनुदान' योजना के लिए 300 करोड़ रुपये का प्रावधान किया गया है।  रासायनिक उर्वरकों के अग्रिम भंडारण के लिए 150 करोड़ रुपये प्रस्तावित हैं। पंडित दीनदयाल उपाध्याय खादी विपणन विकास सहायता योजना के लिए 15 करोड़ रुपये का प्रावधान है। बजट के बाद प्रेस वार्ता में योगी ने कहा कि राज्य सरकार युवाओं की शिक्षा, रोजगार, महिलाओं और किसानों के सशक्तीकरण, कानून व्यवस्था के साथ-साथ राज्य के सर्वांगीण विकास पर ध्यान केंद्रित कर रही है।

बजट में सरकारी नलकूपों और छोटी नहरों के साथ-साथ मुख्यमंत्री लघु सिंचाई योजना के तहत 1,000 करोड़ रुपये के अनुदान के माध्यम से मुफ्त सिंचाई का प्रस्ताव है। इसके अलावा, राज्य सरकार ने मुख्यमंत्री कृषक दुर्घटना कल्याण योजना के तहत दुर्घटना बीमा के लिए 650 करोड़ रुपये का प्रावधान किया है। 

बजट में लगभग 5,90,000 करोड़ रुपये की कुल प्राप्तियों का अनुमान है। इसमें 4,99,000 करोड़ रुपये की राजस्व प्राप्तियां और 91,739 करोड़ रुपये की पूंजीगत प्राप्तियां शामिल हैं। राजकोषीय घाटा 81,000 करोड़ रुपये से अधिक होने का अनुमान है जो प्रदेश के सकल राज्य घरेलू उत्पाद (जीएसडीपी) का 3.96 प्रतिशत है।

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